बिहार में लू और मौसमी बीमारियों को लेकर स्वास्थ्य विभाग अलर्ट, अस्पतालों में की गई विशेष तैयारी

स्वास्थ्य मंत्री मंगल पांडेय ने दी जानकारी
अस्पतालों में की जाएंगी ये विशेष तैयारियां
- मंत्री मंगल पांडेय ने कहा कि स्वास्थ्य संस्थानों में क्षमतानुसार लू स्ट्रोक रोगियों के लिए पांच-पांच डेडिकेटेड बेड होंगे।
- लू मैनेजमेंट के लिए रैपिड रिस्पांस टीम का गठन, रोस्टर वाइज स्वास्थ्य कर्मियों की व्यवस्था पर बल दिया जाएगा।
- सभी जिला अस्पतालों एवं सामुदायिक स्वास्थ्य संस्थानों में गर्मी एवं लू की आशंका के मद्देनजर वार्ड में आवश्यकतानुसार एसी, फैन, कूलर, पीने के ठंडे पानी के साथ ही ऑक्सीजन की व्यवस्था सुनिश्चित की जाएगी।
- प्रत्येक स्वास्थ्य संस्थान में एक ओआरएस कार्नर बनेगा। आवश्यक दवा, उपकरण,एंटी डायरियल दवा, आइस पैक, रेक्टल थर्मामीटर, पोर्टेबल बाथटब, आइस मेकर, ओआरएस पैकेट सहित अन्य आवश्यक चीजें मौजूद होंगी।
- मंत्री ने कहा कि स्वास्थ्य केंद्र संबंधित बीमारी से प्रभावित मरीजों को पर्याप्त प्राथमिक उपचार देंगे।
- गंभीर मरीजों को जिला अस्पताल से रेफरल लिंक स्थापित कर गंभीर मरीजों को रेफर किया जाएगा। रेफरल के दौरान 102 एंबुलेंस में हीटवेव (लू) से बचाव के पर्याप्त इंतजाम होंगे।
प्याऊ की करें व्यवस्था, अस्पताल कर लें लू से बचाव की तैयारी
जिलाधिकारी डॉ. चंद्रशेखर सिंह ने भी भीषण गर्मी एवं हीटवेब (लू) की संभावना के मद्देनजर आम जनता की सुरक्षा के लिए विभिन्न विभागों के जिलास्तरीय पदाधिकारियों को दायित्व सौंप दिया है।गर्मी के मौसम में लू से क्षति को रोकने के लिए आपदा प्रबंधन विभाग द्वारा जारी मानक संचालन प्रक्रिया तथा अन्य विभागों द्वारा निर्गत मार्ग दर्शिका के अनुसार कार्रवाई एवं सतर्कता की जरूरत है।त्रुटिरहित आपदा प्रबंधन के लिए अन्तर्विभागीय समन्वय सुनिश्चित करने का निर्देश दिया है। स्वास्थ्य, पशु एवं मत्स्य संसाधन, लोक स्वास्थ्य अभियंत्रण, नगर विकास, शिक्षा, समाज कल्याण, ग्रामीण विकास, अग्निशमन सहित सभी विभागों के जिला-स्तरीय पदाधिकारियों को निर्देशों का पालन करने के लिए कहा गया है। साथ ही प्याऊ की व्यवस्था करने के भी निर्देश दिए गए हैं।